व्रतकीर्तन: Difference between revisions
From जैनकोष
No edit summary |
(Imported from text file) |
||
(One intermediate revision by the same user not shown) | |||
Line 1: | Line 1: | ||
<div class="HindiText"> <p> चंद्रपुर नगर के राजा हरि और रानी धरादेवी का पुत्र । यह मुनिधर्म को पालते हुए मरकर स्वर्ग गया और वहाँ से च्युत होकर पश्चिम विदेहक्षेत्र के रत्नसंचय नगर के राजा महाघोष और रानी चंद्रिणी का पयोबल नाम का पुत्र हुआ । <span class="GRef"> पद्मपुराण 5.135-137 </span></p> | <div class="HindiText"> <p class="HindiText"> चंद्रपुर नगर के राजा हरि और रानी धरादेवी का पुत्र । यह मुनिधर्म को पालते हुए मरकर स्वर्ग गया और वहाँ से च्युत होकर पश्चिम विदेहक्षेत्र के रत्नसंचय नगर के राजा महाघोष और रानी चंद्रिणी का पयोबल नाम का पुत्र हुआ । <span class="GRef"> [[ग्रन्थ:पद्मपुराण_-_पर्व_5#135|पद्मपुराण - 5.135-137]] </span></p> | ||
</div> | </div> | ||
Latest revision as of 15:25, 27 November 2023
चंद्रपुर नगर के राजा हरि और रानी धरादेवी का पुत्र । यह मुनिधर्म को पालते हुए मरकर स्वर्ग गया और वहाँ से च्युत होकर पश्चिम विदेहक्षेत्र के रत्नसंचय नगर के राजा महाघोष और रानी चंद्रिणी का पयोबल नाम का पुत्र हुआ । पद्मपुराण - 5.135-137