प्रवचनसारोद्धार: Difference between revisions
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<span class="HindiText"> श्वेतांबर आम्नाय में श्री नेमिचंद्रसूरि (ई.श.11) द्वारा विरचित लोक के स्वरूप का प्ररूपक गाथा बद्धग्रंथ है । इसमें 276 द्वार तथा 1599 गाथाएँ हैं । (जै./2/92-93) । </span> | |||
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Latest revision as of 18:11, 3 September 2022
श्वेतांबर आम्नाय में श्री नेमिचंद्रसूरि (ई.श.11) द्वारा विरचित लोक के स्वरूप का प्ररूपक गाथा बद्धग्रंथ है । इसमें 276 द्वार तथा 1599 गाथाएँ हैं । (जै./2/92-93) ।