अग्निकाय: Difference between revisions
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<div class="HindiText"> <p> पृथिवी, जल, अग्नि, वायु और वनस्पति इन पाँच प्रकार के स्थावर-एकेंद्रिय जीवों में एक प्रकार के जीव । अपरनाम तेजस्काय । <span class="GRef"> महापुराण 14.22-23 </span><span class="GRef"> हरिवंशपुराण 3.120-121 </span></p> | <div class="HindiText"> <p class="HindiText"> पृथिवी, जल, अग्नि, वायु और वनस्पति इन पाँच प्रकार के स्थावर-एकेंद्रिय जीवों में एक प्रकार के जीव । अपरनाम तेजस्काय । <span class="GRef"> महापुराण 14.22-23 </span><span class="GRef"> [[ग्रन्थ:हरिवंश पुराण_-_सर्ग_3#120|हरिवंशपुराण - 3.120-121]] </span></p> | ||
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Latest revision as of 14:39, 27 November 2023
पृथिवी, जल, अग्नि, वायु और वनस्पति इन पाँच प्रकार के स्थावर-एकेंद्रिय जीवों में एक प्रकार के जीव । अपरनाम तेजस्काय । महापुराण 14.22-23 हरिवंशपुराण - 3.120-121