शंबरदेव: Difference between revisions
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भगवान् पार्श्वनाथ का पूर्व भव का भाई था। इसने भगवान् पर घोर उपसर्ग किया ( महापुराण/73/137 ) अंत में परंपरा का वैर छोड़कर भगवान् की स्तुति की (73/168) यह कमठ का उत्तर का नवमाँ भव है | <p class="HindiText">भगवान् पार्श्वनाथ का पूर्व भव का भाई था। इसने भगवान् पर घोर उपसर्ग किया <span class="GRef">( महापुराण/73/137 )</span> अंत में परंपरा का वैर छोड़कर भगवान् की स्तुति की <span class="GRef">(73/168)</span> यह कमठ का उत्तर का नवमाँ भव है|<br> | ||
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भगवान् पार्श्वनाथ का पूर्व भव का भाई था। इसने भगवान् पर घोर उपसर्ग किया ( महापुराण/73/137 ) अंत में परंपरा का वैर छोड़कर भगवान् की स्तुति की (73/168) यह कमठ का उत्तर का नवमाँ भव है|
- अधिक जानकारी के लिये देखें कमठ ।