चल शील: Difference between revisions
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<span class="GRef"> भगवती आराधना/ | <span class="GRef"> भगवती आराधना/ विजयोदया टीका/180/398/2</span><span class="SanskritText"> कंदर्पकौत्कुच्याभ्यां चलशील:।</span>=<span class="HindiText">कंदर्प और कौत्कुच्य इन दो प्रकार के वचनों का पुन: पुन: प्रयोग करना चल शीलता है। </span> | ||
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Latest revision as of 16:26, 12 May 2023
भगवती आराधना/ विजयोदया टीका/180/398/2 कंदर्पकौत्कुच्याभ्यां चलशील:।=कंदर्प और कौत्कुच्य इन दो प्रकार के वचनों का पुन: पुन: प्रयोग करना चल शीलता है।