सहस्रग्रीव: Difference between revisions
From जैनकोष
Jagrti jain (talk | contribs) mNo edit summary |
(Imported from text file) |
||
Line 1: | Line 1: | ||
<div class="HindiText"> <p id="1"> (1) बलि के वंश में हुआ एक विद्याधर राजा । <span class="GRef"> हरिवंशपुराण 25.36 </span></p> | <div class="HindiText"> <p id="1" class="HindiText"> (1) बलि के वंश में हुआ एक विद्याधर राजा । <span class="GRef"> [[ग्रन्थ:हरिवंश पुराण_-_सर्ग_25#36|हरिवंशपुराण - 25.36]] </span></p> | ||
<p id="2">(2) जंबूद्वीप के भरतक्षेत्र में स्थित विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघकूट नगर के राजा विनमि विद्याधर के वंश में हुआ रावण का पूर्वज एक विद्याधर राजा । यह यहाँ से निकाले जाने पर लंका गया था । मातग्रीव इसका पुत्र था । रावण इसी की वंश परंपरा में हुआ । <span class="GRef"> महापुराण 68.7-12 </span></p> | <p id="2" class="HindiText">(2) जंबूद्वीप के भरतक्षेत्र में स्थित विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघकूट नगर के राजा विनमि विद्याधर के वंश में हुआ रावण का पूर्वज एक विद्याधर राजा । यह यहाँ से निकाले जाने पर लंका गया था । मातग्रीव इसका पुत्र था । रावण इसी की वंश परंपरा में हुआ । <span class="GRef"> महापुराण 68.7-12 </span></p> | ||
</div> | </div> | ||
Latest revision as of 15:30, 27 November 2023
(1) बलि के वंश में हुआ एक विद्याधर राजा । हरिवंशपुराण - 25.36
(2) जंबूद्वीप के भरतक्षेत्र में स्थित विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघकूट नगर के राजा विनमि विद्याधर के वंश में हुआ रावण का पूर्वज एक विद्याधर राजा । यह यहाँ से निकाले जाने पर लंका गया था । मातग्रीव इसका पुत्र था । रावण इसी की वंश परंपरा में हुआ । महापुराण 68.7-12