संज्वलित: Difference between revisions
From जैनकोष
No edit summary |
(Imported from text file) |
||
Line 1: | Line 1: | ||
| == सिद्धांतकोष से == | ||
तीसरे नरक का आठवाँ पटल। - देखें [[ नरक#5.11 | नरक - 5.11]]। | |||
[[संज्वलन | | <noinclude> | ||
[[ संज्वलन | पूर्व पृष्ठ ]] | |||
[[Category:स]] | [[ संततता | अगला पृष्ठ ]] | ||
</noinclude> | |||
[[Category: स]] | |||
== पुराणकोष से == | |||
<p> तीसरी मेघा नाम की नरकभूमि के नौ प्रस्तांरो में आठवें प्रस्तार का इन्द्रक बिल । इसकी चारों दिशाओं में बहत्तर और विदिशाओं में अड़सठ कुल एक सौ चालीस श्रेणिबद्ध बिल है । <span class="GRef"> हरिवंशपुराण 4.81, 125 </span></p> | |||
<noinclude> | |||
[[ संज्वलन | पूर्व पृष्ठ ]] | |||
[[ संततता | अगला पृष्ठ ]] | |||
</noinclude> | |||
[[Category: पुराण-कोष]] | |||
[[Category: स]] |
Revision as of 21:49, 5 July 2020
== सिद्धांतकोष से == तीसरे नरक का आठवाँ पटल। - देखें नरक - 5.11।
पुराणकोष से
तीसरी मेघा नाम की नरकभूमि के नौ प्रस्तांरो में आठवें प्रस्तार का इन्द्रक बिल । इसकी चारों दिशाओं में बहत्तर और विदिशाओं में अड़सठ कुल एक सौ चालीस श्रेणिबद्ध बिल है । हरिवंशपुराण 4.81, 125