परविवाहकरण: Difference between revisions
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Revision as of 21:43, 5 July 2020
स्वदारसन्तोषव्रत के पाँच अतिचारों में इस नाम का एक अतिचार । अपनी या अपने संरक्षण में रहने वाली सन्तान के सिवाय दूसरों की सन्तान का विवाह करना, कराना इस अतिचार में आता है । हरिवंशपुराण 54. 174-175