मनुजोदय: Difference between revisions
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<p> रत्नद्वीप का एक पर्वत । गगनवल्लभनगर का स्वामी गरुडवेग अपने राज्य से यहाँ भाग आया था और रमणीय नामक नगर बसाकर रहने लगा था । <span class="GRef"> महापुराण 75.301-303 </span></p> | <div class="HindiText"> <p> रत्नद्वीप का एक पर्वत । गगनवल्लभनगर का स्वामी गरुडवेग अपने राज्य से यहाँ भाग आया था और रमणीय नामक नगर बसाकर रहने लगा था । <span class="GRef"> महापुराण 75.301-303 </span></p> | ||
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Revision as of 16:56, 14 November 2020
रत्नद्वीप का एक पर्वत । गगनवल्लभनगर का स्वामी गरुडवेग अपने राज्य से यहाँ भाग आया था और रमणीय नामक नगर बसाकर रहने लगा था । महापुराण 75.301-303