संस्थानाक्षर: Difference between revisions
From जैनकोष
(Imported from text file) |
No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
देखें [[ अक्षर ]]। | <span class="GRef">(धवला पुस्तक 13/5,5,48/265/4)</span> <p class="PrakritText">जं तं संठाणक्खरं णाम तं ट्ठवणक्खरमिदि घेत्तव्वं। का ट्ठवणा णाम। एदमिदमक्खर मिदि अभेदेण बुद्धीए जा ट्ठविया लीहादव्वं वा तं ट्ठवणक्खरं णाम। </p> | ||
<p class="HindiText">= संस्थानाक्षर का दूसरा नाम स्थापना अक्षर है, ऐसा ग्रहण करना चाहिए। </p> | |||
<span class="HindiText"><b>प्रश्न</b> -स्थापना क्या है ? </span> | |||
<span class="HindiText"><b>उत्तर</b> -यह वह अक्षर है' इस प्रकार अभेद रूप से बुद्धि में जो स्थापना होती है या जो लिखा जाता है वह स्थापना अक्षर है।</span> देखें [[ अक्षर ]]। | |||
<noinclude> | <noinclude> |
Revision as of 23:24, 18 December 2022
(धवला पुस्तक 13/5,5,48/265/4)
जं तं संठाणक्खरं णाम तं ट्ठवणक्खरमिदि घेत्तव्वं। का ट्ठवणा णाम। एदमिदमक्खर मिदि अभेदेण बुद्धीए जा ट्ठविया लीहादव्वं वा तं ट्ठवणक्खरं णाम।
= संस्थानाक्षर का दूसरा नाम स्थापना अक्षर है, ऐसा ग्रहण करना चाहिए।
प्रश्न -स्थापना क्या है ?
उत्तर -यह वह अक्षर है' इस प्रकार अभेद रूप से बुद्धि में जो स्थापना होती है या जो लिखा जाता है वह स्थापना अक्षर है। देखें अक्षर ।