कोटिशिला: Difference between revisions
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<p class="HindiText">प.पु./४८/श्लोक यह वह शिला है जिस पर से करोड़ों मुनि सिद्ध पद को प्राप्त हुए हैं। रावण को वही मार सकता है जो इसको उठावेगा ऐसा मुनियों का वचन था (१८६)। लक्ष्मण ने इसको उठाकर अपनी शक्ति का परिचय दिया था (२१४)।</p> | |||
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Revision as of 22:15, 24 December 2013
प.पु./४८/श्लोक यह वह शिला है जिस पर से करोड़ों मुनि सिद्ध पद को प्राप्त हुए हैं। रावण को वही मार सकता है जो इसको उठावेगा ऐसा मुनियों का वचन था (१८६)। लक्ष्मण ने इसको उठाकर अपनी शक्ति का परिचय दिया था (२१४)।