हाहा: Difference between revisions
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<div class="HindiText"> <p id="1"> (1) काल का प्रमाण । यह हाहांग प्रमित काल में चौरासी लाख से गुणित होने पर प्राप्त संख्या के बराबर समय का होता है । <span class="GRef"> महापुराण 3. 225 </span></p> | <div class="HindiText"> <p id="1" class="HindiText"> (1) काल का प्रमाण । यह हाहांग प्रमित काल में चौरासी लाख से गुणित होने पर प्राप्त संख्या के बराबर समय का होता है । <span class="GRef"> महापुराण 3. 225 </span></p> | ||
<p id="2">(2) व्यंतर देवों की एक जाति । <span class="GRef"> [[ग्रन्थ:पद्मपुराण_-_पर्व_17#297|पद्मपुराण - 17.297]], 21.27 </span><span class="GRef"> हरिवंशपुराण 19.140 </span></p> | <p id="2" class="HindiText">(2) व्यंतर देवों की एक जाति । <span class="GRef"> [[ग्रन्थ:पद्मपुराण_-_पर्व_17#297|पद्मपुराण - 17.297]], 21.27 </span><span class="GRef"> [[ग्रन्थ:हरिवंश पुराण_-_सर्ग_19#140|हरिवंशपुराण - 19.140]] </span></p> | ||
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Latest revision as of 15:31, 27 November 2023
सिद्धांतकोष से
- गंधर्व नामा व्यंतर जाति का भेद। देखें गंधर्व ।
- काल का एक प्रमाण विशेष। देखें गणित - I.1.4।
पुराणकोष से
(1) काल का प्रमाण । यह हाहांग प्रमित काल में चौरासी लाख से गुणित होने पर प्राप्त संख्या के बराबर समय का होता है । महापुराण 3. 225
(2) व्यंतर देवों की एक जाति । पद्मपुराण - 17.297, 21.27 हरिवंशपुराण - 19.140