निर्वर्गण: Difference between revisions
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( | ( लब्धिसार/ जी.प्र./43/77/5) <span class="SanskritText">अनुकृष्टय: प्रतिसमयपरिणामखण्डानि तासामद्वा आयाम: तत्संख्येत्यर्थ:। तदेव तत्परिणाममेव निर्वर्गणकाण्डकमित्युच्यते। वर्गणा समयसादृश्यं ततो निष्क्रान्ता उपर्युपरि समयवर्तिपरिणामखण्डा तेषां काण्डकं पर्वं निर्वर्गणकाण्डकं। </span>=<span class="HindiText">प्रति समय के परिणाम खण्डों को अनुकृष्टि कहते हैं। उस अनुकृष्टि का काल आयाम कहलाता है। वह ऊर्ध्वगच्छ से संख्यात गुणे होते हैं। उन परिणामों को ही निर्वर्गणा काण्डक कहते हैं। समयों की समानता का नाम वर्गणा है, उस समान समयों से रहित जो ऊपर के समयवर्ती परिणाम खण्ड हैं उनके काण्डक या पर्व का नाम निर्वर्गणा काण्डक है। विशेष–देखें [[ करण#4.3 | करण - 4.3]]। </span> | ||
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Revision as of 19:11, 17 July 2020
( लब्धिसार/ जी.प्र./43/77/5) अनुकृष्टय: प्रतिसमयपरिणामखण्डानि तासामद्वा आयाम: तत्संख्येत्यर्थ:। तदेव तत्परिणाममेव निर्वर्गणकाण्डकमित्युच्यते। वर्गणा समयसादृश्यं ततो निष्क्रान्ता उपर्युपरि समयवर्तिपरिणामखण्डा तेषां काण्डकं पर्वं निर्वर्गणकाण्डकं। =प्रति समय के परिणाम खण्डों को अनुकृष्टि कहते हैं। उस अनुकृष्टि का काल आयाम कहलाता है। वह ऊर्ध्वगच्छ से संख्यात गुणे होते हैं। उन परिणामों को ही निर्वर्गणा काण्डक कहते हैं। समयों की समानता का नाम वर्गणा है, उस समान समयों से रहित जो ऊपर के समयवर्ती परिणाम खण्ड हैं उनके काण्डक या पर्व का नाम निर्वर्गणा काण्डक है। विशेष–देखें करण - 4.3।