स्पृहा: Difference between revisions
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<span class="SanskritText"> | <span class="SanskritText"> न्यायदर्शन सूत्र/ टी./टी./4/1/3/230/12 अस्वपरस्वादानेच्छा स्पृहा।</span> =<span class="HindiText">धर्म से अविरुद्ध किसी पदार्थ के पाने की इच्छा करनी स्पृहा कहलाती है।</span> | ||
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Revision as of 19:17, 17 July 2020
न्यायदर्शन सूत्र/ टी./टी./4/1/3/230/12 अस्वपरस्वादानेच्छा स्पृहा। =धर्म से अविरुद्ध किसी पदार्थ के पाने की इच्छा करनी स्पृहा कहलाती है।