कीर्तिधवल: Difference between revisions
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<p> राक्षसवंशी राजा धनप्रभ और उसकी रानी पद्मा का पुत्र और लंका का राजा । इसने विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघपुर नगर के विद्याधरों के राजा | <p> राक्षसवंशी राजा धनप्रभ और उसकी रानी पद्मा का पुत्र और लंका का राजा । इसने विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघपुर नगर के विद्याधरों के राजा अतींद्र की पुत्री महामनोहरदेवी से विवाह किया था । श्रीकंठ इसका साला था । सुरक्षा की दृष्टि से इसने श्रीकंठ को वानरद्वीप दिया था । <span class="GRef"> पद्मपुराण 5.403-404, 6.2-10, 70-71, 84 </span></p> | ||
Revision as of 16:21, 19 August 2020
== सिद्धांतकोष से ==
पद्मपुराण/ सर्ग/श्लोक—राक्षस वंशीय घनप्रभ राजा का पुत्र था (5/403−404) इसने श्रीकंठ को वानर द्वीप दिया था, जिसकी पुत्र परंपरा से वानर वंश की उत्पत्ति हुई (6/84)।–देखें इतिहास - 7.12।
पुराणकोष से
राक्षसवंशी राजा धनप्रभ और उसकी रानी पद्मा का पुत्र और लंका का राजा । इसने विजयार्ध पर्वत की दक्षिणश्रेणी के मेघपुर नगर के विद्याधरों के राजा अतींद्र की पुत्री महामनोहरदेवी से विवाह किया था । श्रीकंठ इसका साला था । सुरक्षा की दृष्टि से इसने श्रीकंठ को वानरद्वीप दिया था । पद्मपुराण 5.403-404, 6.2-10, 70-71, 84