अभिधेय: Difference between revisions
From जैनकोष
No edit summary |
No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
[[द्रव्यसंग्रह]] / मूल या टीका गाथा संख्या १/७/६ अनन्तज्ञानाद्यनन्तगुणाधारपरमात्मादिस्वभावोऽभिधेयो वाच्यः प्रतिपाद्यः।< | <p class="SanskritPrakritSentence">[[द्रव्यसंग्रह]] / मूल या टीका गाथा संख्या १/७/६ अनन्तज्ञानाद्यनन्तगुणाधारपरमात्मादिस्वभावोऽभिधेयो वाच्यः प्रतिपाद्यः।</p> | ||
<p class="HindiSentence">= अनन्तज्ञानादि अनन्तगुणों का आधार जो परमात्मा आदिका स्वभाव है, वह अभिधेय है, अर्थात् वाच्य या प्रतिपाद्य अथवा कथन करने योग्य विषय है।</p> | <p class="HindiSentence">= अनन्तज्ञानादि अनन्तगुणों का आधार जो परमात्मा आदिका स्वभाव है, वह अभिधेय है, अर्थात् वाच्य या प्रतिपाद्य अथवा कथन करने योग्य विषय है।</p> | ||
[[Category:अ]] | [[Category:अ]] | ||
[[Category:द्रव्यसंग्रह]] | [[Category:द्रव्यसंग्रह]] |
Revision as of 21:09, 24 May 2009
द्रव्यसंग्रह / मूल या टीका गाथा संख्या १/७/६ अनन्तज्ञानाद्यनन्तगुणाधारपरमात्मादिस्वभावोऽभिधेयो वाच्यः प्रतिपाद्यः।
= अनन्तज्ञानादि अनन्तगुणों का आधार जो परमात्मा आदिका स्वभाव है, वह अभिधेय है, अर्थात् वाच्य या प्रतिपाद्य अथवा कथन करने योग्य विषय है।