अद्भुतवीर्य: Difference between revisions
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<p> सिद्ध के आठ गुणों में एक गुण । इस गुण के कारण सिद्धों को संसार के समस्त पदार्थों के जानने में कोई परिश्रम या खेद नहीं होता, कोई पदार्थ प्रतिघातक भी नहीं होता । <span class="GRef"> महापुराण 20.222-2 23, 24.62,42.99 </span>देखें [[ सिद्ध ]]</p> | <div class="HindiText"> <p> सिद्ध के आठ गुणों में एक गुण । इस गुण के कारण सिद्धों को संसार के समस्त पदार्थों के जानने में कोई परिश्रम या खेद नहीं होता, कोई पदार्थ प्रतिघातक भी नहीं होता । <span class="GRef"> महापुराण 20.222-2 23, 24.62,42.99 </span>देखें [[ सिद्ध ]]</p> | ||
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Revision as of 16:51, 14 November 2020
सिद्ध के आठ गुणों में एक गुण । इस गुण के कारण सिद्धों को संसार के समस्त पदार्थों के जानने में कोई परिश्रम या खेद नहीं होता, कोई पदार्थ प्रतिघातक भी नहीं होता । महापुराण 20.222-2 23, 24.62,42.99 देखें सिद्ध