अवध्यत्व: Difference between revisions
From जैनकोष
(Imported from text file) |
(Imported from text file) |
||
Line 1: | Line 1: | ||
<p> द्विज के दस अधिकारों में इस नाम का एक अधिकार । गुणों की अधिकता के कारण अवध्यता का यह अधिकार ब्राह्मणों को प्राप्त था क्योंकि उनका अंतःकरण स्थिर होता था । <span class="GRef"> महापुराण 40.176, 194, </span>देखें [[ द्विज ]]</p> | <div class="HindiText"> <p> द्विज के दस अधिकारों में इस नाम का एक अधिकार । गुणों की अधिकता के कारण अवध्यता का यह अधिकार ब्राह्मणों को प्राप्त था क्योंकि उनका अंतःकरण स्थिर होता था । <span class="GRef"> महापुराण 40.176, 194, </span>देखें [[ द्विज ]]</p> | ||
</div> | |||
<noinclude> | <noinclude> |
Revision as of 16:51, 14 November 2020
द्विज के दस अधिकारों में इस नाम का एक अधिकार । गुणों की अधिकता के कारण अवध्यता का यह अधिकार ब्राह्मणों को प्राप्त था क्योंकि उनका अंतःकरण स्थिर होता था । महापुराण 40.176, 194, देखें द्विज