संध्याकार: Difference between revisions
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<p id="1"> (1) लंका द्वीप का एक महारत्नों से पूर्ण उपद्रव रहित नगर । <span class="GRef"> पद्मपुराण 6.65-66 </span></p> | <div class="HindiText"> <p id="1"> (1) लंका द्वीप का एक महारत्नों से पूर्ण उपद्रव रहित नगर । <span class="GRef"> पद्मपुराण 6.65-66 </span></p> | ||
<p id="2">(2) एक राजा । रावण की दिग्विजय के समय यह भेट लेकर रावण के पास गया था । रावण ने भी मीठी वाणी से इसे संतुष्ट किया था । <span class="GRef"> पद्मपुराण 10.24 </span></p> | <p id="2">(2) एक राजा । रावण की दिग्विजय के समय यह भेट लेकर रावण के पास गया था । रावण ने भी मीठी वाणी से इसे संतुष्ट किया था । <span class="GRef"> पद्मपुराण 10.24 </span></p> | ||
<p id="3">(3) एक नगर । यहाँ राजा सिंहधोष की पुत्री हिडिंबा का जन्म हुआ था । <span class="GRef"> पांडवपुराण 14.16-29, </span><span class="GRef"> हरिवंशपुराण 45.114 </span></p> | <p id="3">(3) एक नगर । यहाँ राजा सिंहधोष की पुत्री हिडिंबा का जन्म हुआ था । <span class="GRef"> पांडवपुराण 14.16-29, </span><span class="GRef"> हरिवंशपुराण 45.114 </span></p> | ||
<p id="4">(4) लंका के पास स्थित एक द्वीप । यह समस्त भोगसामग्री से संपन्न और वन, उपवन से विभूषित था । <span class="GRef"> महापुराण 48.115-116 </span></p> | <p id="4">(4) लंका के पास स्थित एक द्वीप । यह समस्त भोगसामग्री से संपन्न और वन, उपवन से विभूषित था । <span class="GRef"> महापुराण 48.115-116 </span></p> | ||
<p id="5">(5) अमररक्ष के पुत्रों के द्वारा बसाये गये दस नगरों में एक नगर । <span class="GRef"> पद्मपुराण 5.371-372 </span></p> | <p id="5">(5) अमररक्ष के पुत्रों के द्वारा बसाये गये दस नगरों में एक नगर । <span class="GRef"> पद्मपुराण 5.371-372 </span></p> | ||
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Revision as of 16:59, 14 November 2020
(1) लंका द्वीप का एक महारत्नों से पूर्ण उपद्रव रहित नगर । पद्मपुराण 6.65-66
(2) एक राजा । रावण की दिग्विजय के समय यह भेट लेकर रावण के पास गया था । रावण ने भी मीठी वाणी से इसे संतुष्ट किया था । पद्मपुराण 10.24
(3) एक नगर । यहाँ राजा सिंहधोष की पुत्री हिडिंबा का जन्म हुआ था । पांडवपुराण 14.16-29, हरिवंशपुराण 45.114
(4) लंका के पास स्थित एक द्वीप । यह समस्त भोगसामग्री से संपन्न और वन, उपवन से विभूषित था । महापुराण 48.115-116
(5) अमररक्ष के पुत्रों के द्वारा बसाये गये दस नगरों में एक नगर । पद्मपुराण 5.371-372