अक्षत
From जैनकोष
पूजा के जल, गंध, अक्षत, पुष्प, नैवेद्य, दीप, धूप और फल इन अष्ट द्रव्यों में एक द्रव्य । यह अक्षत चावल होता हे । इसे चढ़ाते समय ‘अक्षताय नम:’ यह मंत्र बोला जाता है । महापुराण 11. 135, 17.251-252, 40.8
पूजा के जल, गंध, अक्षत, पुष्प, नैवेद्य, दीप, धूप और फल इन अष्ट द्रव्यों में एक द्रव्य । यह अक्षत चावल होता हे । इसे चढ़ाते समय ‘अक्षताय नम:’ यह मंत्र बोला जाता है । महापुराण 11. 135, 17.251-252, 40.8