मदनोत्सवा
From जैनकोष
सुग्रीव की दसवीं पुत्री । यह राम के गुण सुनकर तथा गुणों से आकृष्ट होकर स्वयंवरण की इच्छा से उनके निकट आयी थी । सीता के ध्यान में मग्न राम ने उसे स्वीकार नहीं किया था । पद्मपुराण - 47.136-144
सुग्रीव की दसवीं पुत्री । यह राम के गुण सुनकर तथा गुणों से आकृष्ट होकर स्वयंवरण की इच्छा से उनके निकट आयी थी । सीता के ध्यान में मग्न राम ने उसे स्वीकार नहीं किया था । पद्मपुराण - 47.136-144