पद्मावती
From जैनकोष
- पूर्व विदेहस्थ रम्यका क्षेत्र की मुख्य नगरी - देखें - लोक / ५ / २ ;
- म.पु./७३/श्लोक अपने पूर्वभव सर्पिणी की पर्याय में कमठ के आँठवें उत्तर भव महीपाल द्वारा लक्कड़ के जलाने पर मारी गयी (१०१-१०३)। परन्तु पार्श्वनाथ भगवान् के उपदेश से शान्तभावपूर्वक मरण करने से पद्मावती बनी (११८-११९)। इसी ने भगवान् पार्श्वनाथ का उपसर्ग निवारण किया था (१३९-१४१)। अतः यह पार्श्वनाथ भगवान् की शासक यक्षिणी है - देखें - यक्ष।