निषेकहार
From जैनकोष
गो.क./मू./928/1111–दोगुणहाणिपमाणं णिसेयहारो दु होइ।=गुणहानि के प्रमाण का दुगुना करने से दो गुणहानि होती है, उसी को निषेकहार कहते हैं। (विशेष देखें गणित - II.5)
गो.क./मू./928/1111–दोगुणहाणिपमाणं णिसेयहारो दु होइ।=गुणहानि के प्रमाण का दुगुना करने से दो गुणहानि होती है, उसी को निषेकहार कहते हैं। (विशेष देखें गणित - II.5)