विनयधर
From जैनकोष
लोहाचार्य के बाद हुए अंग और पूर्व के एक देश ज्ञाता चार मुनियों में प्रथम मुनि । श्रीदत्त, शिवदत्त और अर्हदत्त इनके पश्चात् हुए थे । वीरवर्द्धमान चरित्र 1.50-52
लोहाचार्य के बाद हुए अंग और पूर्व के एक देश ज्ञाता चार मुनियों में प्रथम मुनि । श्रीदत्त, शिवदत्त और अर्हदत्त इनके पश्चात् हुए थे । वीरवर्द्धमान चरित्र 1.50-52