कपिल
From जैनकोष
- (प.पु./३५/श्लोक) एक ब्राह्मण था, जिसने वनवासी राम को अपने घर में आया देखकर अत्यन्त क्रोध किया था (८-१३)। पीछे जंगल में राम का अतिशय देखकर अपने पूर्वकृत्य के लिए राम से क्षमा माँगी (८४, १४५, १७७)। अन्त में दीक्षा धार ली (१९०-१९२)।
- सांख्य दर्शन के गुरु–देखें - सांख्य।