नियत प्रदेशत्व: Difference between revisions
From जैनकोष
No edit summary |
No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
स.सा./आ./परि./शक्ति नं.२४– <span class="SanskritText">आसंसारसंहरणविस्तरणलक्षितकिंचिदूनचरमशरीर-परिमाणावस्थितलोकाकाशसम्मितात्मावयवत्वलक्षणा नियतप्रदेशत्वशक्ति:।२४।</span> =<span class="HindiText">जो अनादि संसार से लेकर संकोच-विस्तार से लक्षित है और जो चरम शरीर के परिमाण से कुछ न्यून परिमाण में अवस्थित होता है, ऐसा लोकाकाशप्रमाण आत्म अवयवत्व जिसका लक्षण है, ऐसी (जीवद्रव्य की) नियत प्रदेशत्व शक्ति है। </span> | |||
[[निमित्त वाद | Previous Page]] | |||
[[नियत वृत्ति | Next Page]] | |||
[[Category:न]] | |||
Revision as of 17:16, 25 December 2013
स.सा./आ./परि./शक्ति नं.२४– आसंसारसंहरणविस्तरणलक्षितकिंचिदूनचरमशरीर-परिमाणावस्थितलोकाकाशसम्मितात्मावयवत्वलक्षणा नियतप्रदेशत्वशक्ति:।२४। =जो अनादि संसार से लेकर संकोच-विस्तार से लक्षित है और जो चरम शरीर के परिमाण से कुछ न्यून परिमाण में अवस्थित होता है, ऐसा लोकाकाशप्रमाण आत्म अवयवत्व जिसका लक्षण है, ऐसी (जीवद्रव्य की) नियत प्रदेशत्व शक्ति है।