अन्योन्याभाव
From जैनकोष
जैन सिद्धांत प्रवेशिका/181
अभाव चार हैं-प्रागभाव, प्रध्वंसाभाव, अन्योन्याभाव व अत्यंताभाव।
जैन सिद्धांत प्रवेशिका/184
पुद्गल की एक वर्तमान पर्याय में दूसरे पुद्गल की वर्तमान पर्याय के अभाव को अन्योन्याभाव कहते हैं।
देखें अभाव ।