कुदृष्टि: Difference between revisions
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<span class="HindiText"> मिथ्यादृष्ट जीव । ये मिथ्यादर्शन से युक्त होने के कारण सद् धर्म का स्वरूप नहीं समझ पाते । फलत इन्हें कुयोनियां मिलती है । <span class="GRef"> पद्मपुराण 5.202-203 </span> | <span class="HindiText"> मिथ्यादृष्ट जीव । ये मिथ्यादर्शन से युक्त होने के कारण सद् धर्म का स्वरूप नहीं समझ पाते । फलत इन्हें कुयोनियां मिलती है । <span class="GRef"> [[ग्रन्थ:पद्मपुराण_-_पर्व_5#202|पद्मपुराण - 5.202-203]] </span> | ||
Latest revision as of 22:20, 17 November 2023
मिथ्यादृष्ट जीव । ये मिथ्यादर्शन से युक्त होने के कारण सद् धर्म का स्वरूप नहीं समझ पाते । फलत इन्हें कुयोनियां मिलती है । पद्मपुराण - 5.202-203