सुखावती: Difference between revisions
From जैनकोष
(Imported from text file) |
(Imported from text file) |
||
Line 1: | Line 1: | ||
<p> | <p> जंबूद्वीप के वत्सकावती देश में विजयार्ध पर्वत पर स्थित राजपुर नगर के राजा धरणिकंप और रानी सुप्रभा की पुत्री । यह जाति, कुल और सिद्ध की हुई तीनों विद्याओं की पारगामिनी थी । इसने समय-समय पर श्रीपाल की सहायता की थी । इसके पुत्र का नाम यशपाल था । <span class="GRef"> महापुराण 47. 72-74, 90-94, 125-128, 148-152, 188 </span></p> | ||
<noinclude> | <noinclude> | ||
[[ | [[ सुखानुबंध | पूर्व पृष्ठ ]] | ||
[[ सुखावह | अगला पृष्ठ ]] | [[ सुखावह | अगला पृष्ठ ]] |
Revision as of 16:39, 19 August 2020
जंबूद्वीप के वत्सकावती देश में विजयार्ध पर्वत पर स्थित राजपुर नगर के राजा धरणिकंप और रानी सुप्रभा की पुत्री । यह जाति, कुल और सिद्ध की हुई तीनों विद्याओं की पारगामिनी थी । इसने समय-समय पर श्रीपाल की सहायता की थी । इसके पुत्र का नाम यशपाल था । महापुराण 47. 72-74, 90-94, 125-128, 148-152, 188