भरतकूट: Difference between revisions
From जैनकोष
(Imported from text file) |
(Imported from text file) |
(No difference)
|
Revision as of 16:29, 19 August 2020
प्रथम जंबूद्वीप में हिमवत् कुचालक के ग्यारह कूटों में तीसरा कूट । यह मूल में पच्चीस योजन, मध्य में पौने उन्नीस योजन और ऊपर साढ़े बारह योजन विस्तार से युक्त है । हरिवंशपुराण 5.53-56