शूरवीर
From जैनकोष
(1) शौर्यपुर के राजा सूरसेन का पुत्र । धारिणी इसकी रानी थी । इसके दो पुत्र थे― अंधकवृष्टि और नरवृष्टि । इसने सुप्रतिष्ठ मुनि से धर्मोपदेश सुनकर अंधकवृष्टि को राज्य तथा नरवृष्टि को युवराज पद देकर संयम ले लिया था । महापुराण 10. 93-94, 119-122
(2) काक-मांस के त्यागी खदिरसार मील का साला । यह सारसौख्य नगर का निवासी था । इसने खदिरसार से व्रत भंग कर स्वस्थ होने के लिए काकमांस खाने को कहा था किंतु खदिरसार ने व्रत भंग नहीं किया अपितु पाँचों व्रत धारण कर लिए थे । अपने बहनोई की इस घटना से प्रभावित होकर इसने भी समाधिगुप्त मुनि से श्रावक के व्रत धारण कर लिये थे । महापुराण 74.401-415