मंदाकिनी
From जैनकोष
कांचनस्थान नगर के राजा कांचनरथ और रानी शतह्रदा की बड़ी पुत्री तथा चंद्रभाग्या की बड़ी बहिन । इसने अपने स्वयंवर में आये राजाओं में अनंगलवण का वरण किया था । पद्मपुराण 110-1, 17-18
कांचनस्थान नगर के राजा कांचनरथ और रानी शतह्रदा की बड़ी पुत्री तथा चंद्रभाग्या की बड़ी बहिन । इसने अपने स्वयंवर में आये राजाओं में अनंगलवण का वरण किया था । पद्मपुराण 110-1, 17-18