सर्वोषधिऋद्धि
From जैनकोष
एक ऋद्धि इस ऋद्धि के धारी मुनि के शरीर का स्पर्श कर बहती हुई वायु सब रोगों को हरने वाली होती है । महापुराण 2.71
एक ऋद्धि इस ऋद्धि के धारी मुनि के शरीर का स्पर्श कर बहती हुई वायु सब रोगों को हरने वाली होती है । महापुराण 2.71