आचार्य सोमदेव (ई. 943-968) द्वारा विरचित ध्यान विषयक संस्कृत छन्द-बद्ध ग्रन्थ है । इसमें 40 श्लोक हैं ।
पूर्व पृष्ठ
अगला पृष्ठ