चारित्राराधना
From जैनकोष
सिद्धांतकोष से
देखें आराधना ।
पुराणकोष से
दर्शन, ज्ञान, चारित्र और तप― इन चतुर्विध आराधनाओं में तीसरी आराधना । इसमें पाप कर्मों से निवृत्ति और आत्मा के चैतन्य रूप में प्रवृत्ति होती है । पांडवपुराण 19.263-266
देखें आराधना ।
दर्शन, ज्ञान, चारित्र और तप― इन चतुर्विध आराधनाओं में तीसरी आराधना । इसमें पाप कर्मों से निवृत्ति और आत्मा के चैतन्य रूप में प्रवृत्ति होती है । पांडवपुराण 19.263-266