नंदाढ्य: Difference between revisions
From जैनकोष
(Imported from text file) |
|||
Line 1: | Line 1: | ||
<p> सेठ गन्धोत्कट और उसकी श्री नन्दा का पुत्र । गायों के अपहर्ता कालकूट से गायों के विमोचक को गोपेन्द्र और गोपश्री की पुत्री गोदावरी दिये जाने के लिए की गयी राजा | <p> सेठ गन्धोत्कट और उसकी श्री नन्दा का पुत्र । गायों के अपहर्ता कालकूट से गायों के विमोचक को गोपेन्द्र और गोपश्री की पुत्री गोदावरी दिये जाने के लिए की गयी राजा काष्ठांगारिक की घोषणा के अनुसार जीवन्धर कुमार ने कालकूट को जीतकर नन्दाढ्य के द्वारा गायें मुक्त कराये जाने का सन्देश भेजा था । फलस्वरूप घोषणा के अनुसार इसे उक्त कन्या प्राप्त हुई थी । वनराज द्वारा हरी हुई श्रीचन्द्रा कन्या भी इसे ही विवाही गयी थी । <span class="GRef"> महापुराण 75.261, 287-300, 520-521 </span></p> | ||
Revision as of 21:42, 5 July 2020
सेठ गन्धोत्कट और उसकी श्री नन्दा का पुत्र । गायों के अपहर्ता कालकूट से गायों के विमोचक को गोपेन्द्र और गोपश्री की पुत्री गोदावरी दिये जाने के लिए की गयी राजा काष्ठांगारिक की घोषणा के अनुसार जीवन्धर कुमार ने कालकूट को जीतकर नन्दाढ्य के द्वारा गायें मुक्त कराये जाने का सन्देश भेजा था । फलस्वरूप घोषणा के अनुसार इसे उक्त कन्या प्राप्त हुई थी । वनराज द्वारा हरी हुई श्रीचन्द्रा कन्या भी इसे ही विवाही गयी थी । महापुराण 75.261, 287-300, 520-521