दिवाकर सेन
From जैनकोष
सेन संघ की गुर्वावली के अनुसार (देखें इतिहास ) आप इंद्रसेन के शिष्य तथा अर्हत् सेन के गुरु थे। समय–वि.640-680 (ई.583-623); ( महापुराण 123/167 प्रशस्ति); (पद्मपुराण/प्र.19 पं.पन्नालाल) ; देखें इतिहास - 7.6 ।
सेन संघ की गुर्वावली के अनुसार (देखें इतिहास ) आप इंद्रसेन के शिष्य तथा अर्हत् सेन के गुरु थे। समय–वि.640-680 (ई.583-623); ( महापुराण 123/167 प्रशस्ति); (पद्मपुराण/प्र.19 पं.पन्नालाल) ; देखें इतिहास - 7.6 ।